वित्‍त मंत्री ने एमएसएमई सेक्‍टर के लिए 3 लाख करोड़ रुपये के लोन गारंटी स्‍कीम का किया ऐलान

वित्‍त मंत्री ने एमएसएमई सेक्‍टर के लिए 3 लाख करोड़ रुपये के लोन गारंटी स्‍कीम का किया ऐलान

Newspoint 24.com / newsdesk / हि.स. /


नई दिल्‍ली । वित्‍त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आत्मनिर्भर भारत पैकेज के पहले चरण में सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योग (एमएसएमई) क्षेत्र के लिए 3 लाख करोड़ रुपये के बिना गारंटी लोन योजना का ऐलान किया। वित्‍त मंत्री ने बुधवार को 20 लाख करोड़ रुपये के विशेष आर्थिक पैकेज के बारे मे प्रेस कॉन्फ्रेंस में इसकी विस्‍तृत जानकारी दी। वित्त मंत्री अगले दो दिन तक हम आत्मनिर्भर भारत पैकेज के बारे में विस्‍तार से जानकारी देंगी।

वित्त मंत्री सीतारमण ने कहा कि आत्मनिर्भर भारत के लिए कुल 15 कदम उठाए जाएंगे। उन्‍होंने कहा कि पहला कदम कारोबारों के लिए है। इसके तहत लघु, सूक्ष्‍म और मध्यम उद्योग (एमएसएमई), कुटीर और गृह उद्योगों के लिए 3 लाख करोड़ रुपये के लोन का ऐलान किया।

उन्होंने कहा कि यह बंधनमुक्त ऋण (कॉलेट्रल फ्री लोन गारंटी) योजना है। एमएसएमई के लिए कुल मिलाकर 6 कदम उठाएंगे। उन्होंने कहा कि एमएमएमई सेक्टर के उद्योगों को अगले 4 साल के लिए यह लोन दिया जाएगा। वित्‍त मंत्री ने कहा कि पहले एक वर्ष के अंदर में एमएसएमई कंपनियों को मूलधन लौटाने की जरूरत नहीं होगी।

वित्‍त मंत्री ने कहा कि समाज के कई वर्गों के साथ विस्‍तार से बातचीत करके ये आर्थिक पैकज तैयार किया गया है। सीतारमण ने कहा कि प्रधानमंत्री खुद इसको तैयार करने में शामिल रहे। सरकार ने पिछले तीन महीने में किसानों और गरीबों के लिए कई कदम उठाए हैं। सीतारमण ने कहा कि इस आर्थिक पैकेज के जरिए सरकार देश को आत्‍मनिर्भर बनाने के रास्ते पर चल पड़ी है।

सीतारमण ने कहा कि कोविड-19 पर नियंत्रण के मामले में दुनिया के अन्‍य देशों के मुकाबले भारत की स्थिति बेहतर है। वित्‍त मंत्री ने प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि आत्मनिर्भर भारत पैकेज के 5 स्‍तंभ हैं, जिसमें इकोनॉमी, इन्फ्रास्ट्रक्चर, सिस्टम, डेमोग्राफी और डिमांड प्रमुख है।

200 करोड़ से कम वाले में ग्लोबल टेंडर नहीं होंगे। इससे लघु ,सूक्ष्म, मध्यम उद्योगों को लाभ मिलेगा।
25लाख से लेकर 1करोड़ रुपए की इन्वेस्टमेंट कर जो 5करोड़ तक का व्यापार करेगा माइक्रो यूनिट कहलाएगा। स्मॉल के लिए 10करोड़ तक का निवेश और 50करोड़ तक का कारोबार और मीडियम में 20करोड़ तक का निवेश और 100करोड़ तक के टर्नओवर का प्रावधान किया गया है। आकार और क्षमता को बढ़ाने की सुविधाएं नहीं मिल पाती थीं तो उसके लिए फंड्स ऑफ फंड्स का प्रावधान किया गया है। इसके माध्यम से 50,000 करोड़ रुपए का इक्विटी इन्फ्यूज़न होगा।
मध्यम, सूक्ष्म, लघु उद्योग, कुटीर उद्योग और घरेलू उद्योग भारतीय अर्थव्यवस्था की रीढ़ हैं। इन MSME’s को 3लाख करोड़ रुपए का कोलेट्रल फ्री ऑटोमैटिक लोन दिया जाएगा। इसमें किसी भी तरह की गारंटी और कोई कोलेट्रल देने की जरूरत नहीं है।

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